BHOJPURI MEDIA ANKIT PIYUSH (https://www.facebook.com/ankit.piyush18 शिक्षा के साथ ही सामाजिक सरोकार से भी जुड़ी है रश्मि लता अपना ज़माना आप बनाते हैं अहल-ए-दिल हम वो नहीं कि जिन को ज़माना बना गया अपनी हिम्मत और लगन के बदौलत रश्मि लता आज शिक्षा के क्षेत्र के साथ ही सामाजिक क्षेत्र में अपनी पहचान बनाने में कामयाब […]
BHOJPURI MEDIA
ANKIT PIYUSH (https://www.facebook.com/ankit.piyush18
शिक्षा के साथ ही सामाजिक सरोकार से भी जुड़ी है रश्मि लता
अपना ज़माना आप बनाते हैं अहल-ए-दिल
हम वो नहीं कि जिन को ज़माना बना गया
हम वो नहीं कि जिन को ज़माना बना गया
अपनी हिम्मत और लगन के बदौलत रश्मि लता आज शिक्षा के क्षेत्र के साथ ही सामाजिक क्षेत्र में अपनी पहचान बनाने में कामयाब हुयी है लेकिन लेकिन इन कामयाबियों को पाने के लिये उन्हें अथक परिश्रम का सामना भी करना पड़ा है।
जब टूटने लगे हौंसले तो बस ये याद रखना,
बिना मेहनत के हासिल तख्तो ताज नहीं होते,
ढूंड लेना अंधेरों में मंजिल अपनी,
जुगनू कभी रौशनी के मोहताज़ नहीं होते।
बिना मेहनत के हासिल तख्तो ताज नहीं होते,
ढूंड लेना अंधेरों में मंजिल अपनी,
जुगनू कभी रौशनी के मोहताज़ नहीं होते।
बतौर शिक्षिका अपने करियर की शुरूआत करने वाली रश्मि लता ने सामाजिक क्षेत्रों में भी उत्कृष्ट कार्य किए हैं। रश्मि काफी समय से महिला पर हो रहे अत्याचारों के खिलाफ और महिला सशक्तिकरण के लिए कई महत्वपूर्ण कार्य करने में लगी हुयी है। रश्मि अपनी व्यस्त जीवनशैली से समय निकालकर समाजसेवा में भी अपना पूरा योगदान देती हैं। रश्मि का कहना है कि समाज के विकास में शिक्षा का महत्वपूर्ण योगदान होता है इसलिए जरूरी है कि समाज के सभी लोग शिक्षित हो। शिक्षा ही विकास का आधार है। समाज के लोग ध्यान रखें कि वह अपने बेटों ही नहीं बल्कि बेटियों को भी बराबर शिक्षा दिलवाएं।वर्तमान परिप्रेक्ष्य में शिक्षा की महत्ता सर्वविदित है. स्पष्ट है कि सामाजिक सरोकार से ही समाज की दशा एवं दिशा बदल सकती है।
वक़्त आने दे दिखा देंगे तुझे ऐ आसमाँ
हम अभी से क्यूँ बताएँ क्या हमारे दिल में है
हम अभी से क्यूँ बताएँ क्या हमारे दिल में है
बिहार की राजधानी पटना की रहने वाली रश्मि ने अपनी प्रारंभिक पढाई अपने मायका हाजीपुर से पूरी की। उनके पिता अनंत प्रसाद वर्मा पोस्टल विभाग में एसएसपी जबकि मां ललिता श्रीवास्तव स्कूल में प्राधानाध्यापक थी। माता-पिता बेटी रश्मि को को उच्च अधिकारी बनाना चाहते थे। रश्मि को पढ़ने में काफी रूचि थी और वह अपनी मां की तरह ही शिक्षा के क्षेत्र में नाम कमाना चाहती थी। बेहतर शिक्षा के लिये रश्मि राजधानी पटना आ गयी जहां उन्होंने वर्ष स्नातक की पढ़ाई और बाद में पीजी की पढाइ की। वर्ष 2002 में रश्मि शादी के अटूट बंधन में बंध गयी। उनके पति श्री संजय कुमार सिन्हा पोस्टल विभाग में वरीय अधिकारी के साथ ही ऑल इंडिया जेनेरल
सेकेट्री भी हैं जो उन्हें हर कदम सर्पोट करते हैं। जहां आम तौर पर युवती की शादी के बाद उसपर कई तरह की बंदिशे लगा दी जाती है लेकिन रश्मि लता के साथ ऐसा नही हुआ। रश्मि के पति के साथ ही ससुराल पक्ष के लोगों उन्हें हर कदम सर्पोट किया। कुछ कर गुजरने का जज्बा हो तो कोई भी काम नामुमकिन नहीं। इस बात को साबित कर दिखाया है रश्मि लता ने ।
सेकेट्री भी हैं जो उन्हें हर कदम सर्पोट करते हैं। जहां आम तौर पर युवती की शादी के बाद उसपर कई तरह की बंदिशे लगा दी जाती है लेकिन रश्मि लता के साथ ऐसा नही हुआ। रश्मि के पति के साथ ही ससुराल पक्ष के लोगों उन्हें हर कदम सर्पोट किया। कुछ कर गुजरने का जज्बा हो तो कोई भी काम नामुमकिन नहीं। इस बात को साबित कर दिखाया है रश्मि लता ने ।
जिंदगी में कुछ पाना हो तो खुद पर ऐतबार रखना
सोच पक्की और क़दमों में रफ़्तार रखना
कामयाबी मिल जाएगी एक दिन निश्चित ही तुम्हें
बस खुद को आगे बढ़ने के लिए तैयार रखना।
सोच पक्की और क़दमों में रफ़्तार रखना
कामयाबी मिल जाएगी एक दिन निश्चित ही तुम्हें
बस खुद को आगे बढ़ने के लिए तैयार रखना।
रश्मि लता यदि चाहती तो विवाह के बंधन में बनने के बाद एक आम नारी की तरह जीवन गुजर बसर कर सकती थी लेकिन वह खुद की पहचान बनाना चाहती थी। रश्मि लता वर्ष 2008 में बतौर शिक्षिका किडजी स्कूल से जुड़ गयी।हालांकि बाद में पारिवारिक दायित्वों की वजह से करीब दो वर्षो तक काम करने के बाद उन्होंने यह नौकरी छोड़ दी।
जुनूँ है ज़हन में तो हौसले तलाश करो
मिसाले-आबे-रवाँ रास्ते तलाश करो
ये इज़्तराब रगों में बहुत ज़रूरी है
उठो सफ़र के नए सिलसिले तलाश करो
मिसाले-आबे-रवाँ रास्ते तलाश करो
ये इज़्तराब रगों में बहुत ज़रूरी है
उठो सफ़र के नए सिलसिले तलाश करो
दुनियां में बहुत सी ऐसी बातें होती हैं जो नामुमकिन नज़र आती हैं …. लेकिन अगर इंसान हिम्मत से काम करे और वो सच्चा है ……तो जीत उसी की होती है। रश्मि शिक्षा के साथ ही सामाजिक क्षेत्र मे अपनी गहरी पहचान बना चुकी है। पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को प्रेरणा मानने वाली रश्मि महिला सशक्तीकरण को बढ़ावा देना चाहती थी और इसी को देखते हुये वह स्वंय सेवी संगठन सामायिक परिवेश ,दैनिक जागरण संगिनी क्लब और रौशनी क्लब से जुड़ गयी और महिलाओं और बच्चों के स्वास्थ्य एवं शिक्षा पर काम किया। रश्मि का मानना है कि महिलाएं समाज का मूल स्तंभ हैं। महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए शिक्षा बेहद जरूरी है, महिलाओं की सुरक्षा के लिए कानूनों में भी विशेष प्रावधान किए गए हैं।लेकिन, जब तक महिला शिक्षित नहीं होगी तब तक ना सिर्फ उनका विकास अवरुद्ध रहेगा, बल्कि सामाजिक स्तर पर हो रहे अत्याचारों को रोकना भी कठिन होगा। जब तक समाज महिलाओं के प्रति अपना नजरिया नहीं बदलेगा, तब तक समाज में महिलाओं की स्थिति में परिवर्तन नहीं आ सकता।
वाक़िफ़ कहाँ ज़माना हमारी उड़ान से
वो और थे जो हार गए आसमान से
वो और थे जो हार गए आसमान से
वर्ष 2017 में रश्मि लता की काबलियत को देखते हुये उन्हें दैनिक जागरण संगिनी क्लब का उपाध्यक्ष भी बनाया गया। रश्मि लता को फैशन के प्रति रूझान शुरू से ही रहा है। रश्मि की रूचि डांस में भी है। वर्ष 2017 में पंचशील क्लब की ओर से हाजीपुर में आयोजित सावन मिलन समारोह में रश्मि लता सर्वश्रेष्ठ पार्श्वगायिका के तौर पर जिलाधिकारी रचना पाटिल द्वारा सम्मानित की गयी। रश्मि को डांसिंग के अलावा पेटिंग ,कुकिंग , ट्रैभलिंगऔर सिनेमा देखने का भी काफी शौक है। रश्मि के चेहरे की मुस्कुराहट उनके व्यक्तिव में चार चांद लगा देती है।
उसे गुमाँ है कि मेरी उड़ान कुछ कम है
मुझे यक़ीं है कि ये आसमान कुछ कम है
मुझे यक़ीं है कि ये आसमान कुछ कम है
रश्मि आज कामयाब महिलाओं में शुमार की जाती है। रश्मि के सपने सपने यूं ही पूरे नही हुये , यह उनकी कड़ी मेहनत का परिणाम है। मुश्किलों से भाग जाना आसान होता है, हर पहलू ज़िन्दगी का इम्तेहान होता है। डरने वालो को मिलता नहीं कुछ ज़िन्दगी में, लड़ने वालो के कदमो में जहां होता है। रश्मि भले ही कला के क्षेत्र में अपनी पहचान अबतक नही बना सकी है। जो लोग अपने सपने पूरे नहीं करते ना …..वो दूसरों के सपने पूरे करते हैं।रश्मि चाहती है कि उनके दोनो बेटे स्नेहिल सिन्हा और सौमिल सिन्हा उनके अधूरे सपने को पूरा करे।
रश्मि लता बताया कि वह अपनी कामयाबी का पूरा श्रेय अपने पति के साथ ही ससुराल और मायके वालों को भी देती है जिन्होंने उन्हें हमेशा सपोर्ट किया है। रश्मि दैनिक जागरण संगिनी क्लब की अध्यक्ष मोनी त्रिपाठी , समाजसेविका ममता मेहरोत्रा और विभा सिंह का भी शुक्रिया अदा करना चाहती है जिन्होंने उन्हें हमेशा सपोर्ट किया है। रश्मि पने पति को रियल हीरो मानती है उन्हें याद कर गुनगुनाती है , मिले हो तुम हमको बड़े नसीबों से चुराया है मैंने किस्मत की लकीरों से , सदा ही रहना तुम मेरे करीब होके चुराया है मैंने किस्मत की लकीरों से।
Bhojpuri Media
Contact for Advertisement
Mo.+918084346817
+919430858218
Email :-ankitpiyush073@gmail.com.
bhojpurimedia62@gmail.com
Facebook Page https://www.facebook.com/bhojhpurimedia/
Twitter :- http://@bhojpurimedia62
Google+ https://plus.google.c
m/u/7/110748681324707373730
… [Trackback]
[…] Find More here on that Topic: bhojpurimedia.net/rashmi-lata/ […]
… [Trackback]
[…] Find More on that Topic: bhojpurimedia.net/rashmi-lata/ […]
… [Trackback]
[…] Here you can find 13436 additional Information on that Topic: bhojpurimedia.net/rashmi-lata/ […]
… [Trackback]
[…] Info to that Topic: bhojpurimedia.net/rashmi-lata/ […]
… [Trackback]
[…] Find More Information here on that Topic: bhojpurimedia.net/rashmi-lata/ […]
… [Trackback]
[…] There you can find 26780 more Info on that Topic: bhojpurimedia.net/rashmi-lata/ […]
… [Trackback]
[…] Find More Information here to that Topic: bhojpurimedia.net/rashmi-lata/ […]