गांव के गरीबों – दलितों की तकदीर बदलने से ही होगा देश का विकास : उपेंद्र कुशवाहा
नरेंद्र मोदी अगर पिछड़े वर्ग से आते, तो होता उनके दिल में गरीबों के लिए दर्द
मधुबनी लोकसभा क्षेत्र को विकसित बनाना मेरा एकमात्र लक्ष्य : बद्री कुमार पूर्वे
हरलाखी/मधुबनी। पूर्व केंद्रीय मंत्री सह राष्ट्रीय लोक समता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा ने आज हरलाखी विधान सभा क्षेत्र के गंगोड़ स्थित नंदलाल उच्च विद्यालय में एक विशाल जनसभा को संबोधित करते हुए महागठबंधन के उम्मीदवार बद्री कुमार पूर्वे के लिए मतदान करने की अपील की। इस दौरान उन्होंने नरेंद्र मोदी और नीतीश कुमार को निशाने पर लिया।
साथ ही देश में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि आज सब विकास की बात करते हैं, लेकिन जबतक गांव के गरीबों और दलितों की तकदीर नहीं बदलेगी, तब तक देश का विकास संभव नहीं है। इसलिए महागठबंधन देश के गरीब, पिछड़े और दलितों की तकदीर बदलने की ठानी है और इसका शुरूआत गुणवत्तापूर्व शिक्षा के माध्यम से होगी।
उन्होंने कहा कि एनडीए गठबंधन की जुमलेबाजी से देश की जनता परेशान है, इसलिए अब तक के चार चरण में हुए मतदान में जनता ने महागठबंधन के उम्मीदवारों भरपूर समर्थन दिया है।
कुशवाहा ने पीएम नरेंद्र मोदी पर झांसा देने का आरोप लगाते हुए कहा कि 2014 में हमसे कहा गया कि नरेंद्र मोदी पिछड़े वर्ग से आते हैं और उन्हें एक मौका मिलना चाहिए। हमें लगा पिछड़े समाज से आने वाला कोई अगर देश का प्रधानमंत्री बनता है, तो वह देश में सबको साथ लेकर चलेगा।
लेकिन चुनाव जीतने के बाद पता चला कि वे पिछड़े वर्ग से आते ही नहीं है। वो तो बाद में गुजरात के मुख्यमंत्री ने उनकी जाति को पिछड़े वर्ग में शामिल किया। इससे हम गलतफहमी के शिकार हो गए।
उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी अगर पिछ़डे वर्ग से आते तो उनके दिल में गरीबों और पिछड़ों के लिए दर्द होता। जन्मजात पिछड़े वर्ग से तो मुकेश सहनी, तेजस्वी यादव, जीतन राम मांझी और उपेंद्र कुशवाहा आते हैं। कुशवाहा ने पीएम मोदी के पिछले चुनावी भाषण को याद कराते हुए कहा कि पिछली बार उनका नारा – पढ़ाई, दवाई और कमाई था, लेकिन हुआ क्या। न पढ़ाई सही हुई।
न रोजगार मिला। न ही स्वास्थ्य सेवा सही हुई। आज भी गंभीर बीमारी के लिए दिल्ली या अन्य राज्यों में जाना पड़ता है। युवाओं बेरोजगारों की संख्या बढ़ती ही जा रही है। शिक्षा का भी बुरा हाल है। इनसे गरीब लोग काफी दूर हैं।
कुशवाहा ने नीतीश कुमार पर हमला बोलते हुए कहा कि जनता ने उन्हें 15 साल का समय दिया। इतने समय में बिहार में बहुत कुछ किया जा सकता था, लेकिन किया कुछ नहीं। आज राज्य की जनता परेशान है। न उन्हें शिक्षा मिलती है, न स्वास्थ्य। अपराधियों का राज चल रहा है। उन्होंने कहा कि बिहार में शिक्षा की हालत जैसी है, उससे दलित और पिछड़े समाज के लोगों का विकास संभव नहीं है।
नीतीश कुमार ने स्कूलों को विद्यालय से भोजनालय बनाने का काम किया है। बिहार में शिक्षा की हालत ये है कि सरकारी स्कूलों में आज भी शिक्षक नहीं है। वहीं, सरकारी स्कूल के शिक्षक के बच्चे भी प्राइवेट स्कूलों में पढ़ते हैं। उन्होंने न्यायालय में जज के पद पर पिछड़े, दलित और गरीब सवर्ण की नियुक्ति नहीं होने को लेकर भी मोदी सरकार पर हमला बोला और कहा कि अगर वे सही में पिछड़े वर्ग में पैदा होते तो पांच साल में न्यायालय के अंदर पिछड़े और दलितों को उनका हक दिलाते।
लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया। इसलिए हम मधुबनी की जनता से अपील करते हैं कि वे महागठबंधन के उम्मीदवार और विकासशील इंसान पार्टी के नेता बद्री कुमार पूर्वे को चुनाव चिन्ह आदमी व पाल युक्त नाव पर बटन दबा कर भारी मतों से विजयी बनायें।
सभा को संबोधित करते हुए महागठबंधन के उम्मीदवार बद्री कुमार पूर्वे ने कहा कि मधुबनी लोकसभा क्षेत्र को विकसित बनाना मेरा एकमात्र लक्ष्य है। उन्होंने कहा कि शिक्षा विकास की महत्वपूर्ण कड़ी है, इसलिए मधुबनी की शिक्षा व्यवस्था को दुरूस्त करना हमारी प्राथमकिता होगी।
हम मधुबनी और हरलाखी के सभी प्रखंडों में गरीब मेधावी छात्र-छात्राओं के लिए विकसित गांवों के समकक्ष बनाने का काम करेंगे। जिले के सबसे पिछड़े गाँवों को विकसित कर अन्य विकसित गांवों के समकक्ष बनाना हमारा लक्ष्य है।
उन्होंने कहा कि देश और देश का संविधान आज खतरे में है। जो लोग आज देश में सत्ता में हैं, वे पांच सालों में नारों और जुमलों की बरसात करते रहे। ऐसे लोगों से सावधान रहने की जरूरत है।
कुशवाहा की जनसभा में राजद विधायक समीर महासेठ, राजद जिला अध्यक्ष राम बहादुर यादव, रालोसपा के महेंद्र प्रसाद सिंह, सीताराम यादव, राम आशीष यादव समेत महागठबंधन के तमाम नेता और कार्यकरर्ता मौजूद रहे।
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