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सामाजिक क्षेत्र में विशिष्ट पहचान बना चुकी हैं काजल यादव

सामाजिक क्षेत्र में विशिष्ट पहचान बना चुकी हैं काजल यादव
सामाजिक क्षेत्र में विशिष्ट पहचान बना चुकी हैं काजल यादव

सामाजिक क्षेत्र में विशिष्ट पहचान बना चुकी हैं काजल यादव

काजल यादव ने सामाजिक क्षेत्र में अपनी खास पहचान बना ली है। उनकी जिंदगी संघर्ष, चुनौतियों और कामयाबी का एक ऐसा सफ़रनामा है, जो अदम्य साहस का इतिहास बयां करता है।श्रीमती काजल यादव ने अपने अब तक के करियर के दौरान कई चुनौतियों का सामना किया और हर मोर्चे पर कामयाबी का परचम लहराया।

बिहार के जहानाबाद जिले में जन्मीं काजल यादव के पिता श्री रामेश्वर यादव सेना में चिकित्सक थे जबकि मां श्रीमती दौलती देवी गृहणी
थी। माता-पिता पुत्री काजल को डॉक्टर या वकील बनाना चाहते थे। पिता के तबादले की वजह से काजल अपने परिवार वालों के साथ पुणे आ गयी जहां उन्होंने प्रारंभिक शिक्षा हासिल की। पिता की आज्ञा को सिरोधार्य मानते हुये काजल यादव ने वकालत की पढ़ाई पूरी की। इसके बाद उनकी शादी डाक्टर रवि किशोर से हो गयी। पारिवारिक जिम्मेवारी के कारण काजल यादव वकालत नही कर सकी। जहां आम तौर पर युवती की शादी के बाद उसपर कई तरह की बंदिशे लगा दी जाती है लेकिन काजल के साथ ऐसा नही हुआ।काजल यादव के पति के साथ ही ससुराल पक्ष के लोगों उन्हें हर कदम सर्पोट किया।काजल यादव यदि चाहती तो विवाह के बंधन में बनने के बाद एक आम नारी की तरह जीवन गुजर बसर कर सकती थी लेकिन वह समाज के लिये कुछ करना चाहती थी। काजल यादव ने इंद्रप्रस्थ एडुकेशनल रिसर्च एंड चैरिटबल ट्रस्ट की स्थापना की। इसके तहत वह स्वास्थ्य ,शिक्षा और महिला सशक्तीकरण की दिशा में काम कर रही है।काजल यादव गरीब और पिछड़े बच्चों की बेहतर शिक्षा एवं उनके उत्थान के लिए हमेशा प्रयासरत रहती हैं। काजल यादव का मानना है कि समाज के विकास में शिक्षा का महत्वपूर्ण योगदान होता है इसलिए जरूरी है कि समाज के सभी लोग शिक्षित हो। शिक्षा ही विकास का आधार है। समाज के लोग ध्यान रखें कि वह अपने बेटों ही नहीं बल्कि बेटियों को भी बराबर शिक्षा दिलवाएं।वर्तमान परिप्रेक्ष्य में शिक्षा की महत्ता सर्वविदित है. स्पष्ट है कि सामाजिक सरोकार से ही समाज की दशा एवं दिशा बदल सकती है। काजल यादव अपनी संस्था के द्वारा बिहार,दिल्ली और मुंबई के कई बच्चों को स्किल डेपलपमेंट की ट्रेनिंग देती है। उन्होंने बताया कि उनकी संस्था की ओर से दो हजार से अधिक महिलाओं को सिलाई ,कढ़ाई ,कम्प्यूटर की ट्रेनिंग दी गयी और वह आत्मनिर्भर है। श्रीमती काजल यादव पुणे में वृ़द्ध आश्रम का भी संचालन करती है।

सामाजिक क्षेत्र में अग्रणी भूमिका निभानी वाली काजल यादव का मानना है कि समाज सेवा से बड़ा कोई कार्य नहीं है।समाज सेवा से बड़ा पुण्य कार्य कोई नहीं। समाज सेवा यदि नि:स्वार्थ भाव से की जाए तो मानवता का कर्तव्य सही मायनों में निभाया जा सकता है।समाज के प्रत्येक नागरिक को अपने सामाजिक एवं पारिवारिक दायित्वों के साथ-साथ समाजसेवा के लिए भी समय अवश्य निकालना चाहिए।श्रीमती काजल यादव ने बताया कि वह अपनी कामयाबी का पूरा श्रेय अपने माता-पिता और पति के अलावा अपने बड़े भाई अरणेश कुमार को देती हैं जिन्होंने उन्हें हर कदम सपोर्ट किया है।श्रीमती काजल यादव ने बताया कि वह इस बात को लेकर गर्व महसूस करती है कि वह बिहार की बेटी है।काजल यादव को खाली समय में गाना सुनने और बागबानी को बेहद शौक है।

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Ankit Piyush

Ankit Piyush is the Editor in Chief at BhojpuriMedia. Ankit Piyush loves to Read Book and He also loves to do Social Works. You can Follow him on facebook @ankit.piyush18 or follow him on instagram @ankitpiyush.

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